जागरुकता रैली से दिया भूकंप से बचाव का संदेश
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कांगड़ा की भूकंप त्रासदी की 120वीं वर्षगांठ पर निकाला सॉलिडैरिटी मार्च
रजनीश, हमीरपुर: वर्ष 1905 में जिला कांगड़ा और इसके आसपास के क्षेत्रों में आए भीषण भूकंप की 120वीं वर्षगांठ के उपलक्ष्य पर आम लोगों को भूकंप जैसी आपदा से बचाव के प्रति जागरुक करने के उद्देश्य से शुक्रवार सुबह यहां जिला मुख्यालय में एक ‘सॉलिडैरिटी मार्च’ निकाला गया।
इस अवसर पर गांधी चौकी पर एकत्रित अधिकारियों, कर्मचारियों, विद्यार्थियों और आम लोगों को संबोधित करते हुए एसडीएम संजीत सिंह ने कहा कि 4 अप्रैल 1905 को जिला कांगड़ा और इसके आसपास के क्षेत्र में बहुत ही भीषण भूकंप आया था, जिसमें 20 हजार से अधिक लोगों की मौत हो गई थी और लगभग एक लाख मकान पूरी तरह ध्वस्त हो गए थे। संजीत सिंह ने कहा कि 120 वर्ष पहले इस क्षेत्र में घनी आबादी नहीं थी और बहुमंजिला इमारतें भी नहीं थीं। लेकिन, आज के दौर में अगर उतनी ही तीव्रता का भूकंप आ जाए तो वर्ष 1905 के मुकाबले कई गुणा ज्यादा नुक्सान हो सकता है। इसलिए, भूकंप जैसी त्रासदी से बचाव के लिए आम लोगों में जागरुकता बहुत जरूरी है।
उन्होंने कहा कि आज के दिन कांगड़ा की भूकंप त्रासदी के मृतकों को श्रद्धांजलि देने के साथ-साथ हमें आपदा से बचाव एवं जागरुकता का संकल्प भी लेना चाहिए। एसडीएम ने कहा कि भूकंप ऐसी आपदा है, जिसे न तो रोका जा सकता है और न ही इसके बारे में कोेई पुख्ता पूर्वानुमान लगाया जा सकता है। लेकिन, इसके प्रति सचेत एवं जागरुक रहकर हम किसी बड़े नुक्सान से बच सकते हैं।